फ़राग़ ही होगा

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सन्नाटे में दमका, वो अक्स नहीं, चराग़ ही होगा।

क़त्ल कर निकला वस्ल में यार का, ना कोई सुराग ही होगा। 

वो नायाब सोम है किसी और जहां के मयख़ाने की,

जो चख सके उसे लब मेरे, तो फ़राग़ ही होगा।

Glossary –

अक्स = reflection or image

चराग़ = oil lamp

वस्ल = meeting or union

सोम = alcohol

फ़राग़ = repose, freedom from care or business

अरसा हुआ…

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अरसा हुआ तुझे नज़रें चुराये,

बहरहाल, चाय के प्याले में तेरा ही अक्स है.

पर

मयस्सर नहीं अब हमसे आंखें चार करना,

ना तेरे इंतज़ार में आज ये शख्स है.

It’s been awhile since then. You do invade my dreams, but not my soul..anymore.

मयस्सर = possible or feasible